ऐतिहासिक है अल्मोड़ा का शै भैरव मंदिर

शिव रूप भैरव रक्षक देवता हैं। भारत वर्ष के अनेक किलों में उनकी स्थापना गढ़ के रक्षक के रूप में की गई है। अल्मोड़ा नगर में भी रक्षक देवता के रूप में उनकी स्थापना नगर के प्रमुख स्थानों में अष्ट भैरव रूप में की गई थी। अल्मोड़ा में अष्ट भैरव मंदिरों की स्थापना का सम्बन्ध चंद शासक उद्योत चंद (1678-98)...

नेहरू जी के प्रवास का प्रतीक है अल्मोड़ा का जिला कारागार

अल्मोड़ा जिला कारागार का अद्भुत इतिहास है। यहाँ गोविंद वल्लभ पंत, जवाहर लाल नेहरु, खान अब्दुल गफ्फार खान,आचार्य नरेन्द्रदेव, बद्रीदत्त पांडे,विक्टर मोहन जोशी आदि महान क्रांतिकारियों ने अपने कारावास की अवधि व्यतीत की है। गुलामी के दिनों में कैदी के रूप में अल्मोड़ा जिला कारागार में भारत के प्रथम...

सिद्ध शिवालय है अल्मोड़ा का बेतालेश्वर मन्दिर

बेतालेश्वर के नाम से प्रसिद्ध उत्तराखंड का सिद्ध बेतालनाथ शिव मंदिर अल्मोड़ा नगर के बेस चिकित्सालय से विकास भवन की ओर जाने वाले सड़क मार्ग पर नगर से लगभग 10 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। इस सड़क मार्ग से मंदिर की पैदल दूरी 250 मीटर है। मंदिर की विभिन्न दिशाओं में भनार गूंठ, रखोली, बाड़ी...

अल्मोड़ा का गौरवशाली इतिहास है

अल्मोड़ा नगर का इतिहास पुराना है। अल्मोड़ा नाम एक पवित्र घास के कारण पड़ा जिसे स्थानीय लोग कटारमल सूर्य मंदिर में पूजा अर्चना के लिए ले जाते थे। यह घास इस क्षेत्र में प्रचुरता से होती थी। लगभग साढ़े चार सौ साल पुराने अल्मोड़ा की राजनैतिक कथा चम्पावत से चंद वंश के राजा भीष्म चंद के अल्मोड़ा आगमन तथा...

अल्मोड़ा के मल्ला महल का समृद्ध इतिहास है

अल्मोड़ा की बसासत के दूसरे चरण के अन्तर्गत राजा रूद्रचंद के कार्यकाल 1588-89 में एक नये अष्ट पहल राजनिवास का निर्माण नगर के मध्य में करवाया गया था जो मल्ला महल कहलाता है। इस महल के संरचनागत निर्माण से लगता है कि देवी मंदिर तथा भैरव मंदिर ही प्रारम्भ में बनाये गये थे तथा पानी के संग्रहण के लिए...

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ऐतिहासिक है अल्मोड़ा का शै भैरव मंदिर

शिव रूप भैरव रक्षक देवता हैं। भारत वर्ष के अनेक किलों में उनकी स्थापना गढ़ के रक्षक के रूप में की गई है। अल्मोड़ा नगर में भी रक्षक देवता के रूप में उनकी स्थापना नगर के प्रमुख स्थानों में अष्ट भैरव रूप में की गई थी।...

नेहरू जी के प्रवास का प्रतीक है अल्मोड़ा का जिला कारागार

अल्मोड़ा जिला कारागार का अद्भुत इतिहास है। यहाँ गोविंद वल्लभ पंत, जवाहर लाल नेहरु, खान अब्दुल गफ्फार खान,आचार्य नरेन्द्रदेव, बद्रीदत्त पांडे,विक्टर मोहन जोशी आदि महान क्रांतिकारियों ने अपने कारावास की अवधि व्यतीत की है।...

सिद्ध शिवालय है अल्मोड़ा का बेतालेश्वर मन्दिर

बेतालेश्वर के नाम से प्रसिद्ध उत्तराखंड का सिद्ध बेतालनाथ शिव मंदिर अल्मोड़ा नगर के बेस चिकित्सालय से विकास भवन की ओर जाने वाले सड़क मार्ग पर नगर से लगभग 10 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। इस सड़क मार्ग से मंदिर की पैदल...

अल्मोड़ा का गौरवशाली इतिहास है

अल्मोड़ा नगर का इतिहास पुराना है। अल्मोड़ा नाम एक पवित्र घास के कारण पड़ा जिसे स्थानीय लोग कटारमल सूर्य मंदिर में पूजा अर्चना के लिए ले जाते थे। यह घास इस क्षेत्र में प्रचुरता से होती थी। लगभग साढ़े चार सौ साल पुराने...

अल्मोड़ा के मल्ला महल का समृद्ध इतिहास है

अल्मोड़ा की बसासत के दूसरे चरण के अन्तर्गत राजा रूद्रचंद के कार्यकाल 1588-89 में एक नये अष्ट पहल राजनिवास का निर्माण नगर के मध्य में करवाया गया था जो मल्ला महल कहलाता है। इस महल के संरचनागत निर्माण से लगता है कि देवी...

स्वामी विवेकानंद और महान वैज्ञानिक रोनाल्ड रास की यादों से जुड़ा है थाॅमसन हाउस

स्वामी विवेकानंद की अल्मोड़ा यात्राओं का यदि सन्दर्भ लिया जाये तो थाॅमसन हाउस का उल्लेख होना स्वाभाविक है। हिमालय यात्रा के दौरान अल्मोड़ा से स्वामी विवेकानंद की अनेक यादें जुड़ी हुई हैं। वह वर्ष 1898 में कई दिनों तक...

रामकृष्ण कुटीर अल्मोड़ा

रामकृष्ण कुटीर अल्मोड़ा रामकृष्ण परमहंस परम्परा के सन्यासियों के लिए स्थापित आध्यात्मिकरिट्रीट सेंटर है। रामकृष्ण मठ तथा रामकृष्ण मिशन बेलूर मठ कोलकाता द्वारा संचालित यहकेन्द्र अब एक सौ वर्ष से भी अधिक प्राचीन हो चुका...

महाकवि टैगोर के प्रवास का प्रतीक है टैगोर हाउस

छावनी क्षेत्र में निर्मित एवं देवदार के वृक्षों से आच्छादित गुरूदेव रवीन्द्र नाथ टैगोर के अल्मोड़ा प्रवास का साक्षी टैगोर हाउस आज भी अल्मोड़ा नगर की सबसे भव्य और विशाल इमारतों में से एक है। सूर्यास्त का इतना विहंगम...

जन- जन के आराध्य हैं बाबा गंगनाथ

पर्वतीय क्षेत्रों में बाबा गंगनाथ का बड़ा मान है। वे जन- जन के आराध्य लोक देवता हैं। बाबा गंगनाथ की लोकप्रियता का प्रमाण जगह -जगह स्थापित किये गये उनके वे मंदिर हैं जो वनैले प्रान्तरों से लेकर ग्राम, नगर और राज्य की...

अल्मोड़ा नगर के रक्षक हैं अष्ट भैरव

उत्तराखंड में सर्वहारा वर्ग के सर्वप्रिय यदि किसी देवता का उल्लेख करना हो तो निश्चित ही वह देवता हैं-भैरव। पर्वतीय समाज में उन्हें लौकिक देवता का स्थान मिला हुआ है। उनके छोटे- छोटे मंदिर निर्जन वनों से लेकर गांव- समाज...

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